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जो बाबा-साहेब को P.M नही बनने दिये वो क्या बहन जी को बनने देंगे ?




*👉--इसका जवाब पंडित नेहरू व राम मनोहर लोहिया व मौलाना अबुल कलाम आजाद व गाँधी जी व जिन्ना हरामी व 3743 OBC को बेवकूफ बनाने वाले बल्लभ भाई पटेल के पास है वही लोग बता सकते थे परन्तु---?* 

*👉--बाबा-साहेब के ऐकला आदर्शवादी चेला भीमवादी दलित बब्बर शेर मान्यवर काँशीराम साहब प्रधानमंत्री नही बन सके*

*👉--इसका खुलासा (स्व०)-मुल्ला-मुलायम सिंह यादव साहब व लालू प्रसाद यादव साहब व 16-टुकड़ो मे बिखरे पूर्व जनता-दल के सभी नेतागण ही बता सकते है*

*👉--चौधरी देवीलाल साहब प्रधानमंत्री नही बन सके और V.P सिंह साहब कैसे प्रधानमंत्री बन गये इसका जवाब काँग्रेस व BJP के पास है---परन्तु काँग्रेस-BJP को ठोकर मारकर BSP के जन्मदाता मान्यवर काँशीराम साहब के बल पर जब तत्कालीन प्रधानमंत्री श्री V.P सिंह साहब ने मंडल आयोग लागू किया तो मनुवादी लोग मानो चट्ठी मे पेशाब हो गया उसी समय से वी॰~पी॰सिंह साहब देश के असली रहनुमा-मसीहा-रहबर बन गये अर्थात भीमवादी क्षत्रिय बन गये ऐसा कथन बहुजन हसरत पार्टी BHP का देशहित-जनहित में है* 

*👉--यदि भीमवादी क्षत्रिय तत्कालीन प्रधानमंत्री माननीय V.P सिंह साहब मंडल-आयोग लागू नही किये होते तो पंडित-पुजारी कि पार्टी काँग्रेस/BJP इस भीमवादी क्षत्रिय तत्कालीन प्रधानमंत्री माननीय V.P सिंह साहब कि सरकार नही गिराते बल्कि पूरे पाँच साल चलने दिये होते--?*

*👉--यदि ये भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी दलित कि जगह सीधे-सीधे पंडित-पुजारी समुदाय से होती तो ये प्रधानमंत्री वाली दिल्ली कि गद्दी बहन मायावती जी का कदम चूमती--?*

*:--:जय भीम जय हसरत मोहानी:--: बहुजन हसरत पार्टी BHP कि किसी भी बात को मत मानो परन्तु तर्क तो कर ही सकते हो यदि तर्क फिट बैठा तो फिर चाहे बहुजन हसरत पार्टी BHP कि बात मानो या ठोकर मारो---*

*(1)--विश्व ज्ञानी बाबा-साहेब भीम राव अम्बेडकर द्वारा बनाई गई RPI...या यूँ कहना गलत नही होगा कि बाबा-साहेब ने अपने जीवित-काल में RPI रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया का उदय सोंचा था जो उनके गुजरने के बाद RPI बनी है और आने वाले समय में 101% रहेगी इसमे कोई शक-सुब्हा नही है*

* (2)--तो याद करो और याद भी होगा आज महाराष्ट्रा में RPI मे करीब 20 से 22 खंड हो गये है वही 20 से 22 खंड आज पूरे देश लेबल पर रन कर रही है दौड़ रही है*

*(3)--बहुजन समाज पार्टी BSP के जन्मदाता व विश्व ज्ञानी बाबा-साहेब के ऐकला आदर्श-वादी चेला भीमवादी दलित बब्बर शेर मान्यवर काँशीराम साहब ने जो ''बहुजन'' शब्द का इस्तेमाल करके बहुजन समाज पार्टी BSP बनायी थी आज ''बहुजन-नाम'' से करीब अनेको पार्टी बन गई है जिसमें से यह बहुजन हसरत पार्टी BHP भी सामिल है*

*(4)--अब सोंचो और तर्क करो काँग्रेस/BJP के विरोध के बावजूद जनता-दल के रूप मे तीसरे मोर्चे का आगाज हुआ था और काँग्रेस/BJP को धूल चटाते हुए गैर-काँग्रेस/BJP वाली सरकार जनता-दल के रूप मे बनी थी जिस जनता-दल ने अनेक प्रधानमन्त्री देश को दिये जैसे:--वी० पी० सिंह साहब/चन्दशेखर साहब/H.D.देवेगौड़ा साहब/इन्द्र कुमार गुजराल साहब थे मगर किसी ने पाँच साल सत्ता नहीं चला पाये ये सोंचने कि बात है तर्क लगाना चाहिए कि उस समय कि जनता-दल क्या वाकई में काँग्रेस/BJP कि विरोधी थी या कुछ अलग कहानी लिख गई*

*(5)--बोफोर्स काण्ड मामले मे काँग्रेस से भगाये गये या या या बाहर किये गये या या या निकाले गये V.P सिंह साहब कैसे जनता-दल मे रातों-रात प्रगट हुए थे इसका खुलासा बहुजन हसरत पार्टी BHP कर सकती है परन्तु करना नही चाहती है* 

*(6)--V.P सिंह साहब जनता-दल मे प्रवेश करते हुऐ जनता-दल के सभी नये-पुराने छोटे-बड़े नेता को साइड मे करते हुए 1990 में कैसे प्रधानमंत्री बन गये ये अपने मे एक अनोखी पहेली है और चौधरी देवीलाल साहब सीनियर होते हुए प्रधानमंत्री नही बन सके और चौधरी देवीलाल को उप-प्रधानमंत्री पद से ही संतोष करना पड़ा था जैसे सरदार बल्लभ भाई पटेल प्रधानमंत्री बनते-बनते रह गये और पंडित नेहरू देश के प्रधानमंत्री बन बैठे*

*(7)-देश का बँटवारा-धर्म के नाम पर नही बल्कि सत्ता कि लालच में हुआ है यदि सच में देश का बँटवारा धर्म के नाम पर हुआ होता तो भारत मे आज मुसलमान नहीं होते अब सोंचो तो केवल 1971 में भाषा व संस्कृति के नाम पर पाकिस्तान में से बांग्ला देश कभी अलग नही होता।*

(8)-वास्तव में देश का बँटवारा बाबा-साहेब को प्रधानमंत्री बनने से रोकने के लिऐ व दोनो लोग जैसे पंडित नेहरू तथा जिन्ना हरामी दोनो ही प्रधानमंत्री बनना चाहते थे अब एक देश मे एक ही प्रधानमंत्री होगा दो प्रधानमन्त्री तो हो ही नही सकते थे प्रधानमंत्री बनने के लालच कि वजह से देश का बँटवारा हुआ था*

*(9)-1937 के देश पहले आम चुनाव मे मुस्लिम बाहुल्य राज्य पंजाब-बंगाल में इन MUSLIM SC ST OBC शूद्र वंचित हजारों कलाकार जाति पेशेवर जाति वाले कामगार-श्रमिक-मजदूर-बहुजन लोगों कि सरकारे बनी जहाँ काँग्रेस और जिन्ना कि मुस्लिम लीग बुरी तरह हारी थी*

*(10)-इसलिए पंडित नेहरू और जिन्ना हरामी दोनों ने मिलकर एक-दूसरे को प्रधानमंत्री बनने के लिए षड्यंत्र रचा/खेला और षड़यंत्र से 1939-40 में मुसलमानों के लिए पाकिस्तान कि माँग करके देश मे ''हिंदू×मुस्लिम'' नफरत के बीज बोकर पाकिस्तान नाम से भारत के देशभक्त मुस्लिमों कि नवाबी छीन ली गई नवाबी का मतलब आज का M.P-M.L.A-C.M व डिप्टी P.M होता है*

*(11)-1943 में बंगाल प्रान्त में बाबासाहेब ने सर ख्वाजा नज़मुद्दीन साहब के साथ मिलकर हिन्दू-महासभा (श्यामा प्रसाद मुखर्जी)+ फजलुल हक्क (मुस्लिम लीग) के गठबंधन कि सरकार को उखाड़कर दलित+मुस्लिम कि सरकार बनाई थी।*

*(12)-बंगाल कि भाँति 11 में से जिन 9 प्रान्तों में दलित+मुस्लिम आबादी हिंदुओं से अधिक थी उन सभी प्रान्तों में तथा केंद्र में भी बंगाल कि भाँति बाबासाहेब दलित+मुस्लिम (शूद्रवंशी मुस्लिम) गठबंधन कि सरकार बना लेंगे और PM बन जायेंगे ....तथा मुस्लिम राजनीति कि कमान/बागडोर मौलाना हसरत मोहानी साहब,मौलाना असीम बिहारी साहब आदि जैसे देशभक्त-वफादार मुस्लिम नेताओँ के हाथों में आ जायेगी इस बात से पंडित नेहरु और जिन्ना दोनो डर गये थे*

*(13)-इसलिए 1946 में संपूर्ण देश में वोटिंग कराने के बजाय काँग्रेस और जिन्ना हरामी कि मुस्लिम लीग को जहाँ कुत्ता भी नही पूँछता था ऐसे पंजाब और बंगाल में ही भारत विभाजन बँटवारे के लिए वोटिंग करवाई गयी थी आज इस मुद्दे पर डिबेट होना चाहिए*

*(14)-जहाँ बंगाल में 1946 में कुल 225 विधायकों में से 121 मुस्लिम-दलित विधायकों ने बंगाल विभाजन के विरोध में वोटिंग कि थी तो उच्च जाति के 94 हिन्दू विधायकों ने बंगाल विभाजन के पक्ष मे वोट दिया था इस षड़यंत्र को समझना होगा*

*(15)-दलित+मुस्लिम समाज के विधायकों ने जहाँ भारत-बंगाल बँटवारे का विरोध किया था वही कश्मीर के नाम पर बवाल करने वाली हिन्दू-महासभा जो कल कि जनसंघ थी आज कि BJP है उस समय काँग्रेस व कम्युनिस्ट आदि ने भारत देश के बँटवारे का पुरजोर समर्थन किया था*

*(15/A)-भारत विभाजन के शर्त के अनुसार जिस क्षेत्र 50% ज्यादा कि आबादी हिन्दू कि होगी वह क्षेत्र भारत मे रहेगा और जिस क्षेत्र मे 50% ज्यादा कि आबादी मुस्लिम कि होगी वह क्षेत्र पाकिस्तान को दिया जाएगा परन्तु बाबा-साहेब को संविधान सभा मे चुनकर भेजने वाले (1) जस्सोर (2) खुलना (3) बोरिशाल (4)-फरिदपूर में (71%) इन चारों जिले/क्षेत्र कि हिन्दू आबादी 52% के ऊपर होने के बावजूद बँटवारे कि 50% तय वाली शर्त को ताक/हँसिये पर रखकर उस क्षेत्र को पाकिस्तान मे क्यों दिया गया क्योंकि दलित-मुस्लिम एकता को तोड़ना और बाबासाहेब को प्रधानमंत्री बनने से रोकना था*

*(16)-बावजूद इसके बँटवारे का आरोप मुस्लिम-कौम के ऊपर डालकर आज पल-पल मुस्लिमों को गद्दार-आतंकवादी नाम से काँग्रेस कि वजह से जलील किया जाता है पंडित पुजारी के नजर में दलित और मुस्लिम दोनों ही अछूत है क्योंकि दलित भाई तंगहाली/गरीबी कि वजह से मरे हुए जानवर बैल-भैंस आदि का चमड़ा और कुछ अच्छा गोश्त इस्तेमाल करते थे और मुस्लिम-कौम उसी जानवर बैल-भैंस आदि को जबे/हलाल करके खाते थे अब पंडित-पुजारी कि अंदरूनी नजर मे दलित-मुस्लिम दोनो अछूत ही हुऐ कि नहीं बोलो और तर्क करो किन्तु पंडित-पुजारी जानता है कि यदि दोनो अछूत सत्ता बनाने के लिए एक हो गये तो हम पंडित-पुजारी से सत्ता छीन लेंगे ये दोनों अछूत एक न होने पावे इसलिए ये पंडित पुजारी दलित को अछूत और मुस्लिम को आतंकवादी बोलता है।*

*(17)-28/04/1946 को 15 में से 12 वोट पाने के बावजूद गाँधी जी ने OBC वल्लभभाई पटेल कि जगह 1-वोट पाने वाले पंडित नेहरू को प्रधानमंत्री कैसे बनाया दिया इस पर बहस होनी चाहिए इस जातिवाद के खिलाफ आवाज न उठाने के कारण आज तक OBC समाज को हक़ अधिकार जनगणना आदि से वंचित रखा गया है इसके बावजूद सरदार पटेल ने बाबासाहेब को संविधान सभा मे जाने से रोकने कि कोशिश किये थे।* 

*(18)-काँग्रेस का अध्यक्ष होने के बावजूद मौलाना अबुल कलाम आजाद को कानूनन अधिकार था कि मौलाना अबुल कलाम आजाद प्रधानमंत्री बन सकते थे मौलाना अबुल कलाम आजाद द्वारा माँग करने के बावजूद भी गाँधी जी ने मौलाना अबुल कलाम आजाद को प्रधानमंत्री क्यों नही बनाया इस पर बहस कौन करेगा*

*(19)-बाबासाहेब के डर से पंडित नेहरू ने 13/12/1946 को संविधान सभा में MUSLIM SC ST OBC को उचित आरक्षण दूँगा ऐसा प्रस्ताव पास किया था परन्तु जैसे ही भारत से पाकिस्तान बना पंडित नेहरू ने आरक्षण देने से मुकर गये।**(20)-बाबासाहेब ने लखनऊ में 24-25 अप्रैल 1948 को कहा था कि दलित-पिछड़े-मुस्लिम राजनैतिक तौर पर एक हो गए तो ये गोविंद वल्लभ पंत जैसे मुख्यमंत्री लोग तुम्हारे जूते कि फीते/नाड़ा बाँधने में गर्व महसूस करेंगे इसे रोकने के लिए पंडित नेहरू ने जाति आधारित जनगणना बंद करवाकर धर्म आधारित जनगणना कानून 1948 में बनवाया इस पर बहस होनी चाहिए*

*(21)-बाबासाहेब के दलित-मुस्लिम-OBC के गठबंधन से डरकर पंडित पुजारी ने OBC को बाबासाहेब के साथ जाने से रोकने के लिए काँग्रेस ने अपने समाजवादी प्यादे राम मनोहर लोहिया को षड्यंत्र के तहत आगे करके समाजवादी नाम का उदय किया और अपनी B टीम के रूप में अंदरूनी तौर पर मान्यता दे दी जिसके चलते समाजवादी लोग-सोशलिस्ट धड़े से 13 विधायकों ने 1948 में नूरा-कुश्ती के तहत यूपी विधानसभा से इस्तीफा देकर काँग्रेस के इशारे पर चलने वाली अपनी समाजवादी धड़े कि अलग पार्टी बनवाई...जैसे आज काँग्रेस ने BJP बनाई है*

*(22)-1949 में संविधान सभा मे बाबा-साहेब ने मुस्लिमो के आरक्षण कि बात रखी तो पंडित जवाहर लाल नेहरू ने विरोध किया था कि मुस्लिमों कि बात मुस्लिम रखे आप मत रखो..."शेड्यूल कास्ट फेडरेशन" दलितों कि पार्टी है*

*(22/A)-भारत का बँटवारा करके मुस्लिम भाईयों का 35% आरक्षण खत्म करने के बावजूद तथा अधिकार होते हुए भी मौलाना अबुल कलाम आजाद को प्रधानमंत्री न बनाए जाने के बावजूद मौलाना अबुल कलाम आजाद ने बाबासाहेब जी द्वारा पुनःह नवाबी दिलाने के लिए मुस्लिम भाईयों को संविधान में दिए जा रहे आरक्षण का विरोध नेहरू के प्यादे के तौर पर क्यों किया इस पर डिबेट होनी चाहिए।*

*(23)-नूरा कुश्ती के तहत देश मे हिंदू×मुस्लिम नफरत का जहर घोलने के लिए 1949 के फैजाबाद/आयोध्या के उप-चुनाव में काँग्रेस से टूटे इस B टीम सोशलिस्ट-समाजवादी के आचार्य नरेंद्र देव वर्मा के खिलाफ काँग्रेस ने नेहरू के इशारे पर राम मंदिर के कार्ड को खेलते हुए काँग्रेस के फैजाबाद/अयोध्या के उम्मीदवार बाबा राघवदास के माध्यम से षड्यंत्र के तहत राम जन्मभूमि विवाद को खड़ा करने के लिए यानि हिंदू × मुस्लिम नफरत के बीज बोने के लिए बाबा राघवदास ने सौगंध ली और अपनी सभी जन-सभाओं में घोषणा करी कि वह राम जन्मभूमि को अन्य धर्म के लोगो से मुक्त कराएंगे उप-चुनाव से पहले काँग्रेस ने अयोध्या में पोस्टर लगवाए क्या इस पर डिबेट होनी चाहिए इस पर डिबेट क्यों नही होती है*

*(24)-जीत के बाद राघवदास ने प्रधानमंत्री नेहरू/काँग्रेस के इशारे से अपना संकल्प पूरा करने के लिए अयोध्या में साधु-संतों के साथ बैठक कि जिसके बाद रात के अंधेरे में दिसंबर 1949 में राम की मूर्ति रखवाकर OBC जनगणना और राजनैतिक आरक्षण-व हक-अधिकारों को खत्म करने का संकल्प पूरा किया...।*

*(25)-वास्तव में नेहरू-काँग्रेस का संकल्प राम मंदिर नही था बल्कि बाबासाहेब ने संविधान में OBC को आर्टिकल 340 में दिए हुए OBC के आरक्षण को राम कि आड़ में खत्म करने का संकल्प था जिसका जीता-जागता सबूत काका कालेलकर आयोग व मंडल-आयोग है जिन 3743 OBC वंचित हज़ारों कलाकार जाति पेशेवर जाति वाले कामगार-श्रमिक-मजदूर के हक-अधिकार के वास्ते मंडल-आयोग बना उन्ही 3743-OBC कलाकार जाति पेशेवर जाति को 'राम-नाम' का पक्का भक्त बनाकर पंडित-पुजारी ने उनका राजनैतिक आरक्षण छीन लिये है*

*(26)-जब अगली सुबह से घोर हंगामा हुआ उस वक्त फैजाबाद के D.M के.के नायर थे जिन्होंने मूर्ति हटाने से इन्कार कर दिया उस समय U.P के C.M गोविंद वल्लभ पंत थे कहानी समझ मे आ रही होगी कि कैसे बाबरी-मस्जिद का मुद्दा बनाया गया था*

*(27)-बाबा-साहेब के दलित-MUSLIM-OBC के गठबंधन से डरे नेहरू ने OBC को हिंदू बनाने के लिए तो दिसंबर 1949 में षड्यंत्र से सालों से बंद बाबरी-मस्जिद में रामलल्ला कि मूर्ति रखवाकर देश का भविष्य अंधकार कि मोड़कर लहुलुहान कर दिया गया अब खुद सोंचो और तर्क करो कि क्या हिंदूXमुस्लिम मे नफरत कि नींव यहीं से रखी गई है*

*(28)-इसलिए अयोध्या-फैजाबाद के 1948 के उप-चुनाव में काँग्रेस ने राम जन्मभूमि का मुद्दा उपस्थित करके मंदिर वही बनाएंगे का नारा देकर देश मे हिन्दू×मुस्लिम मे नफरत के बीज बोये थे कि नहीं बोये थे  जिससे सत्ता कि फसल काँग्रेस के सहयोग से बाबरी-मस्जिद का कत्लेआम करके BJP जो मजे से 1989 से सत्ता मजे से बनाकर मलाई काट रही है कि नहीं--?तर्क करो*

*(29)-OBC को आरक्षण दिलाने के लिए विश्व ज्ञानी बाबासाहेब ने 1951 में मंत्री पद से इस्तीफा दिया तो डर के मारे पंडित नेहरू ने 1953 में OBC के लिए काका-कालेलकर आयोग-(पहला जिनन्न) का गठन किया।*

*(29/A)-भारत बँटवारे के बाद मुस्लिमो कि हैसियत और औकात दलितों से भी बत्तर हो गई थी और मुस्लिमों का कोई सक्षम नेता नही था (जो आज भी नही है) दलितों कि तरह ही मुस्लिम भी परेशान किया जा रहा है पंडित-पुजारी कि नजर में दलित-मुस्लिम दोनों दोयम दर्जे के नागरिक है यानि दोनो अछूत ही है जिस बाबा-साहेब ने तरह दलितों का महान उत्थान किया था उसी तरह मुस्लिम भाईयों को भी विशेष अधिकार बाबासाहेब का कुशल नेतृत्व ही देगा इसलिए देश मे मुस्लिम समाज कि अगुवाई करने वाले कलकत्ता के मुस्लिम नेता जनाब M. R. चौधरी साहब और उनके साथियों ने बाबासाहेब को भारत के मुस्लिमो का नेतृत्व करने के लिए दलित-मुस्लिम गठजोड़ करने के लिए 08/07/1956 को पत्र लिखा था दोनों तरफ से जिसका सार्थक पत्राचार 17/7/1956 -26/7/1956 को हुआ था 22/08/1956 को बाबासाहेब  व जनाब M. R. चौधरी साहब कि साक्षात मुलाकात होनी थी परन्तु बाबासाहेब के स्वास्थ व बौद्ध-धर्मान्तर कार्यक्रम कि व्यस्तता व जनाब M. R. चौधरी साहब कि भी सामाजिक-राजनैतिक मुलाकातों कि व्यस्तता के चलते यह प्रस्तावित मुलाकात-साक्षात्कार हो न सका और 06 दिसंबर 1956 को बाबासाहेब जी का महापरिनिर्वाण/देहांत हो गया....।*

*(29/B)-बाबासाहेब के आंदोलन के नेतृत्व में मुस्लिम समाज के उत्थान वाले नेता जनाब M. R. चौधरी साहब के इस सपने को आज बहुजन हसरत पार्टी BHP पूरा करने के लिए 2017 से दिलो-जान से लगी हुई है जिसके लिए बहुजन हसरत पार्टी BHP 2024 में BSP भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी को प्रधानमंत्री बनाकर देश मे भीमराज-शुद्राराज स्थापित करना चाह रही है।*

*(30)-काँग्रेस के खिलाफ देश मे एक मजबूत विपक्ष खड़ा करने के लिए बाबा साहेब ने समाजवादियों के साथ आने का गठबंधन करने कि योजना रखी थी जिसे राम मनोहर लोहिया जी ने भी माना परन्तु बाबा-साहेब के महा-परिनिर्वाण के बाद राम मनोहर लोहिया जी ने RPI के साथ गठबंधन नही किया...इससे साफ हो गया था कि राम मनोहर लोहिया काँग्रेस कि B टीम है यदि समाजवादी लोग सही में काँग्रेस के खिलाफ होते तो RPI से गठबंधन करके चुनाव लड़ते वही हाल मुल्ला-मुलायम अखिलेश यादव कर रहे है*

*(31)-1967 बाबा-साहेब द्वारा जागृत हुए गैर-ब्राम्हणों ने 9 राज्यो में गैर-ब्राम्हण व गैर-काँग्रेसी सरकारे बनाई थी जिससे डरकर इंदिरा गाँधी जी ने 1-साल पहले चुनाव करवाया और 1971 में पाकिस्तान में से बांग्ला देश बनवाया तथा आपात-काल लगाकर 25 साल सांसद विधायक कि सीट बढ़ाने का काला कानून लाया।*

*(32)-इन गैर-ब्राम्हण-शूद्रों कि सरकार केंद्र में बनने से रोकने के लिए इंदिरा गाँधी-काँग्रेस ने आपात-काल के ढोंग के आड़ में राजनीति से सन्यास ले चुके गाँधीवादी-समाजवादी-RSS समर्थक जयप्रकाश नारायण के माध्यम से नुरा-कुश्ती के तहत समाजवादियों कि जनता पार्टी कि सरकार बनवाई और तो और वादे से मुकरते हुए दलित बाबू जगजीवन राम को प्रधानमंत्री बनाने के बजाय पंडित-पुजारी मोरार जी देसाई को प्रधानमंत्री बनाया और बुद्ध के शूद्र जो आज के Muslim Sc St Obc वंचित हज़ारों कलाकार जाति पेशेवर जाति वाले कामगार-श्रमिक-मजदूर-बहुजन लोगों कि सरकार बनने से रोक दिया-?*

*👉नोट:--जब भी शूद्र देश कि सत्ता स्थापित करने के नजदीक पहुँचते है तो RSS-BJP कि जननी काँग्रेस  अपनी B-टीम समाजवादियों को आगे करके शूद्रों कि सरकार बनने से हमेशा रोक देते है या ऐसा कहना और उचित होगा कि शूद्रो कि सरकार हमेशा बनने से रोकने मे कामयाब रहते है जनता-दल आदि उसका जीता-जागता उदाहरण है...जैसे 1948 में बाबा-साहेब ने दलित-पिछड़ों को लामबंद किये थे तो काँग्रेस ने बाबा साहेब के खिलाफ समाजवादी विचारों वाले काँग्रेसी राम मनोहर लोहिया के नेतृत्व में समाजवादी धड़े के 13-विधायको के इस्तीफे लेकर/देकर समाजवादी पार्टी बनाई तथा काँग्रेस प्रत्याशी बाबा राघवदास बनाम समाजवादी आचार्य नरेंद्र देव कि आपसी नूरा-कुश्ती कि आड़ में काँग्रेस ने हिंदू×मुस्लिम नफरत का जहरीला पेड़ लगा दिया..परन्तु आज के जितने भी अम्बेडकर-वादी MUSLIM SC ST OBC छुट-भैये अवसरवादी नेता राम मनोहर लोहिया/जयप्रकाश नारायण आस्तीन के साँप वाले समाजवादी नेताओं से जगजीवन राम कि भाँति सबक नही ले रहे है....EVM-कॉलजीएम के साथ-साथ समाजवाद भी काँग्रेस-BJP का आधुनिक हथियार काँग्रेसी EVM देवता यंत्र जो ब्रम्हशीर अस्त्र-ब्रम्हास्त्र-नारायण अस्त्र से ज्यादा खतरनाक है इस EVM ने और इस समाजवादी शब्द दोनों ने MUSLIM SC ST OBC वंचित हज़ारों कलाकार जाति पेशेवर जाति वाले कामगार-श्रमिक-मजदूर-बहुजन लोगो को सत्ता से वंचित रखा है--?*

*(33)-बाबासाहेब के मिशन को पूरा करने के लिए मान्यवर काँशीराम साहब ने MUSLIM SC ST OBC वंचित हजारो कलाकार जाति पेशेवर जाति वाले कामगार-श्रमिक-मजदूर-बहुजन लोगों को DS4 -बहुजन, DS4 के नाम से लामबंद करके मंडल आयोग लागू करो वरना कुर्सी खाली करो---"वोट हमारा राज तूम्हारा नही चलेगा" आंदोलन से काँग्रेस-BJP को सत्ता से उखाड़ फेंकने वाली बहुजनों कि राष्ट्रीय पार्टी "बहुजन समाज पार्टी' BSP बनाई अब तर्क करो कि BSP के जन्मदाता भीमवादी दलित बब्बर मान्यवर काँशीराम साहब के जन्मदिन 15/3/2017 को बहुजन हसरत पार्टी BHP का उदय क्यों हुआ है*

*(34)-मान्यवर काँशीराम साहब को प्रधानमंत्री बनने से रोकने के लिए तथा मंडल आंदोलन से OBC का ध्यान हटाने व OBC को हिन्दू बनाने के लिए काँग्रेस ने 1984 में ऑपरेशन ब्लू स्टार चलाकर देश मे हिंदू X सीख नफरत का माहौल फिर बनाया और OBC को कट्टर हिन्दू बनाने के लिए अपने शासन काल मे काँग्रेस ने 1986 मेरठ दंगे व 1989 में भागलपुर दंगो से मुस्लिम नर-संहार करके बोफोर्स का ढोंगी मुद्दा आगे करके मा. श्री.V.P सिंह साहब को समाजवादी चेहरे के तौर पर पेश करके बोफोर्स के कंधे/माध्यम से अपनी पैदा कि हुई B-टीम BJP को देश कि दो नंबर कि पार्टी बनाया जैसे BSP को तहस-नहस करने के लिए अरविंद केजरीवाल कि AAP-आप का उदय हुआ है*

*(35)-यदि 1989 का चुनाव बोफोर्स-काण्ड के बजाय मंडल-आयोग/भागलपुर दंगे और मेरठ दंगे के नाम पर लड़ा गया होता तो ये भीमवादी दलित बब्बर शेर/BSP के जन्मदाता मान्यवर काँशीराम साहब 1989 में प्रधानमंत्री बन जाते तथा बाबा-साहेब का बदला लेकर दिल्ली कि गद्दी पर नीला झंडा लहराये होते और इस महान भारत देश में नफरत फैलाने वाली BJP कभी नही पनपती और काँग्रेस का भी खत्म हो जाता 1989 मे भीमराज-शूद्रराज का उदय पक्का था---?*

*(36)-बहुजन समाज पार्टी BSP को सत्ता में आने से रोकने के लिए ही मुस्लिम समाज को गुमराह करने हेतु काँग्रेस हमेशा समाजवादी को हथियार के तौर आगे करके BJP कि सरकार बनाती है।*

*(37)-1989 में यदि जनता दल BJP के साथ गठबंधन करके न लड़ती तो 2 सीट पाने वाली BJP भारत देश से कब कि समाप्त हो जाती ये समाजवादी धड़े ही काँग्रेस के इशारे से BJP को बढ़ाते है ताकि बहुजन समाज पार्टी BSP सत्ता में न आने पावे।*

*(38)-इसलिए तो 2003 में BSP विधायक तोड़कर दल-बदल कानून कि धज्जियाँ उड़ाकर केंद्र कि BJP सरकार ने मुलायम सिंह यादव जी कि असंवैधानिक सरकार बनाई थी यह बात और यह दावा और यह कथन बहुजन हसरत पार्टी BHP का नही बल्कि 14/02/2007 को सुप्रीम कोर्ट ने श्री. राजेन्द्र सिंह राणा  व अन्य बनाम स्वामी प्रसाद मौर्य व अन्य  सिविल अपील  संख्या : 765/2007 में अपने आदेश में बहुजन समाज पार्टी से टूटे मूल 13 विधायकों को अयोग्य घोषित करके कुल टूटे हुए 37 विधायकों कि अपील खारिज कर दी यानि मुलायम सिंह यादव द्वारा BSP के जो 13-विधायक तोड़कर बनाई गई सरकार थी उस बनी हुई सरकार को सुप्रीम कोर्ट ने असंवैधानिक घोषित किया था इस असंवैधानिक सरकार में BJP ने मुलायम सिंह यादव को अपने दूत केसरीनाथ त्रिपाठी को विधानसभा अध्यक्ष बनाये रखने को कहा जिसे काँग्रेस ने भी बाहर से समर्थन दिया---*

*(39)-2007 में UP में पूर्ण बहुमत कि सरकार बनाने वाली BSP/भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी का नाम 2008-09 में परमाणु डील मुद्दे पर प्रधानमंत्री के रूप में सामने आया था तो BJP व समाजवादी पार्टी ने मिलकर अर्थात समाप्तवादी-पार्टी के कुबेर के खजाना कहे जाने वाले समाजवादी पार्टी के RSS वाले अमर सिंह साहब, BJP के लालकृष्ण अडवाणी ने और काँग्रेस दिग्विजय सिंह ने षड्यंत्र रचकर मन मोहन सिंह कि सरकार बचायी थी संसद में वोट के बदले नोट कांड करवाकर काँग्रेस कि अल्पमत में आई काँग्रेस कि मनमोहन सिंह कि सरकार को बचाकर भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी को प्रधानमंत्री बनने से रोका गया जैसे पहले बाबासाहेब जी व मान्यवर काँशीराम साहब को भी समाजवादियों कि आड़ में प्रधानमंत्री बनने से रोका गया था--?*

*(40)-काँग्रेस-BJP-RSS व उनकी B/C/D पार्टियाँ जैसे अरविंद केजरीवाल-ममता बैनर्जी-शरद पवार तथा 16-टुकड़ो मे बिखरे पूर्व मूल जनता-दल के अम्बेडकर-वादी छुट भैये अवसर-वादी निकम्मे नालायक नौटंकीबाज टपोरी सड़क छाप नेतागण जैसे नीतीश कुमार स्व०-मुल्ला-मुलायम सिंह यादव के नादान बेटे अखिलेश यादव वगैरह लोग भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी को बाबा-साहेब व मान्यवर काँशीराम समझती व मानती है काँग्रेस-BJP जानती है यदि भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी प्रधानमंत्री बन जाएगी तो 3743 OBC कलाकार जाति पेशेवर वाले कामगार-श्रमिक-मजदूर कि जनगणना एक क्षण/पल भी हो जायेगी तथा मुस्लिम भाईयों को फिर से नवाबी मिल जायेगी नवाबी का मतलब आज का M.P-M.L.A-C.M व डिप्टी P.M. होता है*

*(40/A)-इसके साथ-साथ भारत देश फिर से सम्राट अशोक का भारत बन जायेगा मनुवादी-रामवादी कि घातक जड़े दफन हो जायेगी भारत पुनःह सोने कि चिड़िया कहलायेगा देश मे सिर्फ कलाकार जाति पेशेवर जाति वाले लोगो को ही नही बल्कि सभी लोगो को संविधान के अनुसार सम्मानपूर्वक जीवन जीने का अधिकार मिलेगा।*

*(41)-इसलिए पूर्व में इन पंडित-पुजारी कि पार्टी काँग्रेस-BJP तथा ढोंगी समाजवाद के कंधे पर विश्व ज्ञानी बाबा-साहेब को तथा बाबासाहेब का एकला आदर्श-वादी चेला भीमवादी दलित बब्बर शेर मान्यवर काँशीराम साहब को व परमाणु डील मुद्दे पर विख्यात होने वाली भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी को कभी प्रधानमंत्री/P.M. बनने नही दिया गया---*

*(42)-परमाणु डील मुद्दे के बाद बहन मायावती जी को प्रधानमंत्री बनने से रोकना काँग्रेस के बस में नही था इसलिए बहन मायावती जी को रोकने के लिए काँग्रेस ने 2008-09 से सम्पूर्ण चुनाव EVM से करवाना चालू किया तथा 8/10/2013 सुप्रीम कोर्ट के आदेश की धज्जियाँ उड़ाकर बिना VVPAT लगाए EVM से चुनाव कराकर BJP को सत्ता सौंप दी ताकि BSP को रोका जाए BSP को खत्म किया जाए--?*

*(43)-जैसे काँग्रेस-BJP आज BSP को खत्म करना चाहती है वैसे ही काँग्रेस ने बाबासाहेब कि संकल्पित RPI को 20 से 22 से ज्यादा टुकड़ो में बाँटकर खत्म सा कर दिया है इसी काँग्रेस ने अपना मकसद पूर्ण होते ही जनता दल को भी 16-टुकड़ो में बाँटकर रख दिया और जनता दल का चुनाव चिन्ह "चक्र" भी झुमरी तलैया में A/C कि हवा खाने के लिए भेज दिया।*

*(44)-देश मे 40% से 45% के इर्द-गिर्द दलित-मुस्लिम आबादी है और देश का दलित-मुस्लिम अब दिलो-जान से भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी को अपना रहनुमा-मसीहा-रहबर मानता है BJP को सत्ता में लाने वाली काँग्रेस व समाजवादी विचारों वाली पार्टी जिसे जनता-दल कहते है इस मूल जनता दल के 16-टुकड़ो कि असलियत और औकात भी अब मुस्लिम समाज जान गया है इसलिए देश के दलितों के साथ-साथ देश मे मुस्लिम व OBC भाई भी बहन मायावती जी को 2024 में प्रधानमंत्री बनाने के लिए बेताब है--?*

*(45)-इससे डरी हुई काँग्रेस-BJP EVM के साथ-साथ जनता दल के बिखरे हुए 16-टुकड़ो का मोर्चा बनाकर BSP/भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी को रोकना चाहती है परन्तु बुद्ध के शूद्र जो आज के Muslim Sc St Obc वंचित हज़ारों कलाकार जाति पेशेवर जाति वाले कामगार-श्रमिक-मजदूर-बहुजन लोग है इनको सब पता चल गया है कि ये टूटे हुए मूल जनता-दल के 16-टुकड़ो मे बिखरे ये अम्बेडकर-वादी छुट भैये अवसर-वादी निकम्मे नौटंकीबाज नेता-नूती अपने-अपने राज्य के बाहर एक-दूसरे को एक भी वोट जो ट्रांसफर नही करवा सकते है वो क्या खाक काँग्रेस-BJP से टक्कर ले पायेंगे*

*(46)-जैसे स्व.मुलायम सिंह के बेटे अखिलेश यादव UP के बाहर व नीतीश कुमार/लालू प्रसाद यादव बिहार के बाहर, स्टॅलिन-DMK तमिलनाडु के बाहर, KCR-चंद्रशेखर राव तेलंगाना के बाहर, ममता बैनर्जी प.बंगाल के बाहर, चंद्रबाबू नायडू-जगन रेड्डी आंध्र प्रदेश के बाहर, नवीन पटनायक उड़ीसा के बाहर, देवेगौड़ा जी कर्नाटक के बाहर वगैरह-वगैरह नेतागण जब अपने-अपने राज्य के बाहर एक भी वोट अपने सहयोगी दलों को नही दिला सकते है तो फिर आखिर क्यों देश कि आन-बान-शान व लोकतंत्र-संविधान-मानवता-भाईचारा व मौलिक-अधिकार को बाबरी-मस्जिद कि भाँति लहुलुहान करके कत्लेआम कर रहे है आज न्याय-संगति के साथ-साथ बहुजन हसरत पार्टी BHP भी देशहित-जनहित मे सवाल कर रही है*

*(47)-काँग्रेस-BJP को जनता-जनार्दन देश से मिटाना चाहती है जनता को राष्ट्रीय पार्टी के विकल्प के रूप मे सिर्फ BSP दिख रही है इसलिए काँग्रेस-BJP खुद के बचाव के लिए अपनी मीडिया के माध्यम से BSP को रोकने के लिए राजनीति के क्षेत्र मे पूरी अपाहिज हो चुकी तथा 16-टुकड़ो मे बिखरी पूर्व मूल जनता दल के अम्बेडकर-वादी छुट भैये अवसर-वादी निकम्मे नालायक नौटंकीबाज नेता-नूती को तीसरे मोर्चे के लिए समय-समय पर आगे करती रहती है ताकि तीसरा मोर्चा BSP नेतृत्व में कभी बनने न पावे अर्थात तीसरा मोर्चा आजीवन BSP/भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी के निगरानी मे न बन सके सारा खेल BSP को धूल चटाने के लिए खेला जाता है--?*

*(48)-काँग्रेस-BJP-EVM-कोल्जिएम व काँग्रेस/BJP कि B/C/D टीम जैसे केजरीवाल-और-ममता बनर्जी शरद पवार

आदि रामवादी-मनुवादी लोगो कि मिली-भगत को दफन करने के लिए तथा देश कि सत्ता बहुजनों के हाथों में देने के लिए तथा बहुजन समाज के हितों के खातिर बहुजन हसरत पार्टी BHP भीमवादी दलित शेरनी बहन मायावती जी से देशहित-जनहित मे निवेदन/अपील करती है कि माननीय बाबू सिंह कुशवाहा जी को अपने साथ मे लेकर या उनसे गठबंधन करके भीमराज-शूद्रराज का उदय करे--?*

*✍️✅-नारा--को अम्बेडकर-वादी नही बल्कि भीमवादी बनकर फैसला करते हुए दिल से लगाना चाहिए*


*1-बुद्ध के शूद्रों ने ये दिल मे ये अब ठाना है*


*1/A-बहन मायावती जी को P.M/प्रधानमंत्री बनाना है*


*2-दलित-मुस्लिम साथ चलेगा*


*2/A-OBC अब राज करेगा....*


*3-खोलो अपनी आँख मुस्लमाँ छीन लो अपनी नवाबी*


*3/A-वरना अब माना जायेगा सब तुम लोगो मे है खराबी*


*4-होश मे आओ अब हे दलित-मुस्लमाँ एकता का राग अलापो*


*4/A-1943-बंगाल कि तरह एक होकर रामराज-मनुराज के राज को भीमवादी मेजर-टेप से नापो*


*5-घटिया पार्टी घटिया सोंच काँग्रेस-BJP के स्तर को जानो*


*5/A-क्या सच कहती है ये बहुजन हसरत पार्टी BHP अब तो इसकी बात तो मानो* 


*6-दलित-मुस्लिम जिस दिन बंगाल कि भाँति एक हो गया*


*6/A-मानो उस दिन काँग्रेस-BJP-EVM-कोलजियम का अंत हो गया*


*7-दलित-मुस्लिम का मान लो सीधे-सीधे अब कल्याण हो गया*


*7/A-पंडित पुजारी कि पार्टी काँग्रेस/BJP का अब मानो सत्यानाश हो गया*


*Note--नोट--Note--*


*नवाबी का मतलब आज का M.P-M.L.A-C.M व डिप्टी P.M होता है*


*यदि लिखने में कोई अपराध और गलती हुई हो गई हो या तर्क के हिसाब-किताब से सच्चाई उजागर करने मे तो कोई भूल-चूक हो गई हो तो कृपया देशहित-जनहित में क्षमा कीजिए*


*मुहम्मद मैराज शेख*

*संस्थापक-राष्ट्रीय-अध्यक्ष : बहुजन हसरत पार्टी BHP-9819316944----- 19/5/23*




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