सवाल:मेरा नाम अंकुर है, मेरी समस्या और उसका समाधान करने की कोशिश करें । मेरी समस्या यह है कि मैं बचपन से अपने दोस्तों के साथ में कुछ गलत हरकतों में पड़ गया था जिसके कारण मुझे काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। आज मैं एक वैवाहिक जीवन गुजार रहा हूं लेकिन मुझे वह पुरानी बातें आज भी याद आती है। मैं चाहता हूं कि वह सब पुरानी बातें जो मेरी सब गलतियां थी मैं उन्हें भूल जाऊं कृपया इसका जवाब बताएं ।
जवाब यह कि हम उस परमपिता परमेश्वर ने इंसान की संरचना इस प्रकार की है उसकी उत्पत्ति वैवाहिक जीवन से होती है और यदि हमारा व्यवहारिक जीवन आनंदमय ना हो तो यह संसार आगे नहीं बढ़ सकता। प्रकृति ने संसार को आगे बढ़ाने के लिए इस तरह की चीजें रखी है जो हमें आनंदित करती हैं और वंशावली को आगे बढ़ाते हुए संसार प्रगतिशील बनता जाता है मानव आदि काल से आज तक इसी प्रकार विकसित होता रहा है मानव की यह प्रवृत्ति है कि वह बहुत कुछ पाना चाहता है जब इच्छा है असीम हो और संसाधन सीमित तो समस्या पैदा होती है इसीलिए शास्त्रों में कहा गया है धैर्य बहुमूल्य है। जिस प्रकार सूर्य उगता है उसके बाद ऊंचाइयों पर जाता है प्रकाश बिखेरता है और फिर अस्त हो जाता है । मानव को चाहिए कि वे वह कल की बात भुला कर एक नए दिन की शुरुआत करें और जीवन को आनंदमय बनाऐ ।
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